Report By- CT NEWS
रायपुर। 20 अगस्त से बूढ़ा तालाब स्थित धरना स्थल पर अनिश्चित कालिन हडताल का आज चौथा दिन है। अपनी दो सूत्रीय मांग को लेकर धरना पर बैठे वन विभाग के दैनिक वेतन भोगी कर्मचारी / वाहन चालक / कम्प्युटर आपरेटर/ दैनिक श्रमिक/ तेन्दुपत्ता गोदाम सुरक्षा श्रमिक लोग विगत कई वर्ष से नियमितीकरण के माग को लेकर अनवरत रैली एवं हड़ताल करते हुये आ रहे है। प्रदेश महामंत्री रामकुमार सिन्हा का कहना है की भूपेश सरकार के द्वारा जन घोषणा पत्र में नियमितीकरण करने का वादा किया हुआ है। चार साल हो गए किन्तु नियमितीकरण के संबंध आज तक निर्णय नहीं लिया गया है। जिसके कारण प्रदेश के सभी जिलों से आए हुए वन विभाग के 6500 दैनिक वेतन भोगी कर्मचारी / वाहन चालक / कम्प्युटर आपरेटर/ दैनिक श्रमिक / जाबदर कर्मचारी अनिश्चित कालीन हड़ताल में डंटे हुये है। और संगीत के माध्यम से मुख्यमंत्री को संदेश देना चाह रहे है। कि वन विभाग के दैनिक वेतन भोगी कर्मचारियों का जल्द से जल्द नियमितीकरण करें। और उन्होंने यह भी कहा की जब तक हमारी मांगे पूरी नहीं होगी। तब तक ऐसे ही हम लगातार हड़ताल जारी रखेंगे। जहां पर केवल हड़ताल हि हड़ताल नजर आ रहा है। महिलाये भी बड़चढ़कर भाग लिये है, छत्तीसगढ़ दैनिक वेतन भोगी वन कर्मचारी संघ के प्रदेश महामंत्री श्री रामकुमार सिन्हा ने बताया की भूपेश सरकार राजीव गांधी न्याय योजना चला रहा है। बहुत सुदर पहल और योजना है। किन्तु न्याय योजना के तहत दैनिक वेतन भोगी कर्मचारियों का नियमितीकरण करते तो और बहुत सुंदर होता। नियमितीकरण के मांग को लेकर वनमंत्री के बंगला से लेकर पीसीसीएफ, एपीसीसीएफ, सीसीएफ, डीएफओं बंगला के सभी वाहन चालक कुक निकलकर हड़ताल में सामिल हुये है। जिसके कारण अधिकारी मंत्री के बंगला का काम पुरा ढप है। साथ हि साथ जंगल सफारी से लेकर पुरा कार्यालय का काम ढप है। पानी पिलाने वाले भी नहीं मिलेंगें। छत्तीसगढ़ के दैनिक वेतन भोगी वन कर्मचारी संघ अनवरत हड़ताल में बने रहेंगें। जब तक नियमितीकरण का निर्णय नही ले लेते है। और आदेश जारी नही कर देते, वन विभाग के दैनिक वेतन भोगी कर्मचारी 1988 से 1997 में 2900 दैनिक वेतन भोगी सर्व प्रथम नियमितीकरण हुये थे। और जिस प्रकार से रामकुमार सिन्हा प्रदेश महामंत्री के नेतृत्व में हड़ताल हो रहे है। उससे स्पस्ट होता है नियमितीकरण मिलकर रहेगा।